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हाईवे पर मानवता शर्मसार, दो एमबीबीएस छात्रों की मौत

हाईवे हादसा: मदद न मिलने से युवाओं ने तोड़ा दम, डॉक्टर बनने का सपना टूटा, बुझ गई दो जिंदगियां

आगरा में दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जहां समय पर मदद न मिलने के कारण दो एमबीबीएस छात्रों ने सड़क पर ही दम तोड़ दिया। परिजनों का आरोप है कि हादसे के बाद करीब एक घंटे तक दोनों घायल हाईवे पर पड़े रहे, लेकिन न तो पुलिस समय पर पहुंची और न ही किसी राहगीर ने उन्हें अस्पताल ले जाने की पहल की। कमला नगर के विमल वाटिका निवासी कारोबारी राजेश अग्रवाल के छोटे बेटे सिद्ध की इस दुर्घटना में मौत हो गई। सिद्ध ने हाल ही में नीट परीक्षा में शानदार सफलता हासिल कर एसएन मेडिकल कॉलेज में दाखिला लिया था। पिता अपने बेटे को खोने के सदमे में टूट चुके हैं और पोस्टमार्टम हाउस पर रोते हुए कह रहे थे कि उनका सब कुछ उजड़ गया।

राजेश ने बताया कि सिद्ध दोपहर करीब दो बजे स्कूटर लेकर घर से निकला था। रास्ते में स्कूटर खड़ा कर वह अपने दोस्त तनिष्क की बाइक पर बैठ गया। शाम करीब पांच बजे हादसा हुआ, लेकिन इसकी जानकारी परिवार को काफी देर बाद मिली। जब एक सहपाठी ने सिद्ध के मोबाइल पर कॉल किया, तो फोन किसी अजनबी ने उठाया और बताया कि मोबाइल के मालिक एक्सीडेंट में घायल हैं। इसके बाद एसएन मेडिकल कॉलेज के बॉयज हॉस्टल से साथी छात्र दौड़ते हुए घटनास्थल पहुंचे और दोनों घायलों को ई-रिक्शा से एसएन मेडिकल इमरजेंसी लेकर आए। हालांकि, इलाज में हुई देरी जानलेवा साबित हुई और दोनों छात्रों की मृत्यु हो गई। हादसे के बाद से सिद्ध का मोबाइल भी लापता है।

परिवार में मातम का माहौल है। सिद्ध की दादी चाहती थीं कि उनका पोता डॉक्टर बने और इसी सपने को साकार करने में सिद्ध पूरी मेहनत से जुटा था। वह मजाक में कहा करता था—“पापा डॉक्टर नहीं बन पाए तो क्या हुआ, डॉक्टर का पापा तो बनेंगे।” यह सपना अब अधूरा रह गया। पिता ने बताया कि पत्नी नीरू बेटे के भविष्य को लेकर बेहद सोचती रहती थीं। अक्सर सिद्ध के दोस्तों को घर बुलाकर खुद खाना बनाकर खिलाया करती थीं। हादसे के बाद सिद्ध की मौत की सूचना अभी मां को नहीं दी गई है।

घटना की जानकारी मिलते ही एसएन मेडिकल कॉलेज की इमरजेंसी में छात्रों की भीड़ उमड़ पड़ी। कई छात्र रो पड़े। कॉलेज के प्राचार्य डॉ. प्रशांत गुप्ता ने कहा कि इस दुर्घटना में हमने दो प्रतिभाशाली भविष्य के डॉक्टर खो दिए हैं, जो बेहद दुखद है। दूसरे मृतक छात्र तनिष्क हरदोई जिले के आवास विकास कॉलोनी, सी-489 के निवासी थे। उनके पिता अरविंद गुप्ता हैं। पुलिस ने परिजनों को हादसे की सूचना दी, पर शुरुआत में बताया गया कि तनिष्क घायल हैं। परिजन आगरा के लिए रवाना हुए, लेकिन रात करीब 11:30 बजे तक वे शहर नहीं पहुंच पाए थे।

मदद के इंतज़ार में टूट गए दो सपने

आगरा में दिल दहला देने वाली लापरवाही सामने आई है। समय पर इलाज मिल जाता तो शायद दो होनहार मेडिकल छात्र आज ज़िंदा होते। सड़क हादसे में घायल हुए दोनों छात्र करीब एक घंटे तक हाईवे पर तड़पते रहे, लेकिन न तो पुलिस मौके पर पहुंची और न ही किसी राहगीर ने उन्हें अस्पताल पहुंचाने की पहल की। कमला नगर स्थित विमल वाटिका निवासी कारोबारी राजेश अग्रवाल के छोटे बेटे सिद्ध और उनके साथी तनिष्क बाइक से जा रहे थे, तभी शाम करीब 5 बजे दुर्घटना हो गई। हादसे के बाद दोनों घायल अवस्था में सड़क पर ही पड़े रहे। आसपास से वाहन गुजरते रहे, लेकिन किसी ने मदद नहीं की। काफी देर बाद सिद्ध के मोबाइल पर किसी सहपाठी ने कॉल किया, जिसे किसी अज्ञात व्यक्ति ने उठाकर हादसे की जानकारी दी। सूचना मिलते ही एसएन मेडिकल कॉलेज के बॉयज हॉस्टल से छात्र दौड़ते हुए घटनास्थल पहुंचे और दोनों को ई-रिक्शा से मेडिकल कॉलेज की इमरजेंसी तक लाया। हालांकि इलाज शुरू होने से पहले ही दोनों की मौत हो चुकी थी।

डॉक्टर बनने का सपना अधूरा रह गया

सिद्ध ने हाल ही में नीट परीक्षा में अच्छे अंक हासिल कर एसएन मेडिकल कॉलेज में दाखिला लिया था। परिवार को बेटे से बड़ी उम्मीदें थीं। पिता राजेश अग्रवाल रोते हुए बताते हैं कि उनकी मां, विद्या देवी का सपना था कि पोता डॉक्टर बने। सिद्ध भी अक्सर कहता था, “पापा डॉक्टर नहीं बन पाए, तो क्या हुआ, पापा डॉक्टर का पिता तो बनेंगे।” लेकिन यह सपना अधूरा ही रह गया।

मां को अब तक नहीं दी गई मौत की खबर

सिद्ध की मां नीरू बेटे के भविष्य को लेकर हमेशा चिंतित रहती थीं और उसके दोस्तों को घर बुलाकर खाना खिलाती थीं। बेटे की मौत की सूचना उन्हें परिवार ने अब तक नहीं दी है। घर में मातम पसरा हुआ है और पूरा परिवार गहरे सदमे में है।

कॉलेज में शोक की लहर

दोनों छात्रों की मौत की खबर मिलते ही एसएन मेडिकल कॉलेज इमरजेंसी में छात्रों की भीड़ जमा हो गई। छात्र-छात्राएं फूट-फूटकर रोने लगे। कॉलेज के प्राचार्य डॉ. प्रशांत गुप्ता ने घटना को बेहद दुखद बताया और कहा कि “आज हमने दो होनहार डॉक्टरों को खो दिया है।”

परिजनों के आगरा पहुंचने का इंतजार

दूसरे मृतक छात्र तनिष्क हरदोई के आवास विकास कॉलोनी के निवासी थे। उनके पिता अरविंद गुप्ता को हादसे की सूचना दी गई, लेकिन शुरुआत में केवल इतना बताया गया कि बेटा घायल है। परिजन देर रात करीब 11:30 बजे आगरा पहुंच सके।

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